नई दिल्ली: हिमालया वैलनेस कंपनी ने आज बताया कि दोनों उत्पादों – लिव.52 टेबलेट्स और सिस्टोन सिरप को ड्रग लाईसेंसिंग अथॉरिटीज़ द्वारा अनुमोदित लाईसेंस के अनुरूप निर्मित और वितरित किया जाता है। इन उत्पादों के लेबल भी इस अनुमोदित लाईसेंस की अनुपालना में हैं, इसलिए ये उत्पाद बिक्री के लिए सुरक्षित हैं। इस बात की पुष्टि कल उत्तर प्रदेश स्टेट ड्रग लाईसेंसिंग अथॉरिटी ने जीओ पत्र सं. 635/डी.जी. 376/22 दिनांक 20 मार्च 2024 द्वारा सुधार कर दी।
हिमालया वैलनेस कंपनी की सीएफओ और सीओओ, जयश्री उलाल ने कहा, ‘‘उपरोक्त सुधार से स्पष्ट हो जाता है कि लिव.52 टेबलेट और सिस्टोन सिरप लेबल की जरूरतों का पूरा अनुपालन करते हैं और सर्वश्रेष्ठ गुणवत्ता के हैं। हम आयुष मंत्रालय, नई दिल्ली को धन्यवाद देते हैं, जिन्होंने हिमालया द्वारा मौजूदा एवं अनुपालना के दस्तावेजों के साथ मामला उठाए जाने पर इस मामले में त्वरित प्रतिक्रिया देते हुए कार्रवाई की, और इसे हल कर दिया।’’
उन्होंने आगे कहा, ‘‘हम अपने ग्राहकों, डॉक्टर्स, फिज़िशियंस, वितरकों, ट्रेड पार्टनर्स और अपने फील्ड स्टाफ की सराहना करते हुए उनके शुक्रगुजार हैं। लिव.52 और सिस्टोन 66 सालों से 64 देशों में बेचे जा रहे हैं, और पूरी दुनिया के डॉक्टरों द्वारा इनका परामर्श दिया जाता है। हम इस विश्वास पर काम करते हैं कि जब आयुर्वेद को आधुनिक विज्ञान का मिलन होता है, तब मरीजों के लिए वैलनेस के व्यवहारिक समाधानों का निर्माण होता है। हमें अपने ग्राहकों को सेवाएं देने की खुशी है, जो सालों से हम पर भरोसा करते आ रहे हैं।’’
हिमालया वैलनेस कंपनी भारत के अग्रणी हर्बल हेल्थकेयर ब्रांड्स में से एक है। हमें एक स्वदेश में विकसित भारतीय कंपनी होने पर गर्व है, जो 1930 से आयुर्वेद के विज्ञान का उपयोग कर रही है। हम आयुष मंत्रालय के नियमों के अंतर्गत और ड्रग्स एंड कॉस्मेटिक एक्ट, 1940 और उसके अंतर्गत आने वाले नियमों के अनुसार सभी नियमों और गुणवत्ता मानकों का पालन करते हैं।
हिमालय में, हम अपने उपभोक्ताओं की सुरक्षा और अपने उत्पादों की गुणवत्ता सुनिश्चित करने के लिए प्रतिबद्ध हैं, और हम “ख़ुश रहो कुशल रहो” फैलाने का अपना वादा पूरा करते रहेंगे।”